Friday 24 May 2024

कविता. ५१८२. आवाज संग अरमानों की।

                            आवाज संग अरमानों की।

आवाज संग अरमानों की तलाश इशारा देती है कदमों को अदाओं की पहचान अफसाना दिलाती है अंदाजों को बदलावों की मुस्कान दिलाती है।

आवाज संग अरमानों की पुकार सरगम देती है किनारों को सपनों की कोशिश दास्तान दिलाती है उम्मीदों को दिशाओं की मुस्कान दिलाती है।

आवाज संग अरमानों की उम्मीद लहर देती है एहसासों को खयालों की समझ सौगात दिलाती है कदमों को उजालों की मुस्कान दिलाती है।

आवाज संग अरमानों की आस अल्फाज देती है नजारों को लहरों की पुकार जज्बात दिलाती है तरानों को अफसानों की मुस्कान दिलाती है।

आवाज संग अरमानों की रोशनी दास्तान देती है इशारों को लम्हों की सुबह एहसास दिलाती है खयालों को नजारों की मुस्कान दिलाती है।

आवाज संग अरमानों की उमंग कोशिश देती है तरानों को उम्मीदों की कहानी अहमियत दिलाती है आशाओं को इरादों की मुस्कान दिलाती है।

आवाज संग अरमानों की राह परख देती है अंदाजों को बदलावों की सोच उमंग दिलाती है एहसासों को लम्हों की मुस्कान दिलाती है।

आवाज संग अरमानों की सोच इशारा देती है दिशाओं को कदमों की आहट समझ दिलाती है दास्तानों को अदाओं की मुस्कान दिलाती है।

आवाज संग अरमानों की समझ किनारा देती है उजालों को तरानों की पुकार खयाल दिलाती है लहरों को अल्फाजों की मुस्कान दिलाती है।

आवाज संग अरमानों की सौगात सुबह देती है आशाओं को अंदाजों की आस सहारा दिलाती है अफसानों को राहों की मुस्कान दिलाती है।

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                              किनारों की आहट अक्सर। किनारों की आहट अक्सर अरमानों संग पुकार दिलाती है लहरों को इशारों से आवाजों की धून एहसास ...