Wednesday 23 October 2024

कविता. ५३०४. नजारों को अरमानों की।

                           नजारों को अरमानों की।

नजारों को अरमानों की उमंग सहारा देती है कदमों को उजालों की पहचान इशारा देती है अल्फाजों को उम्मीदों की मुस्कान देती है।

नजारों को अरमानों की तलाश इरादा देती है उम्मीदों को लहरों की कहानी कोशिश देती है अफसानों को दास्तानों की मुस्कान देती है।

नजारों को अरमानों की पुकार खयाल देती है इशारों को लम्हों की सरगम तलाश देती है आशाओं को बदलावों की मुस्कान देती है।

नजारों को अरमानों की सोच एहसास देती है खयालों को अदाओं की परख सहारा देती है अंदाजों को इरादों की मुस्कान देती है।

नजारों को अरमानों की सौगात बदलाव देती है आवाजों को सपनों की पुकार तराना देती है एहसासों को अल्फाजों की मुस्कान देती है।

नजारों को अरमानों की सुबह तराना देती है आशाओं को अल्फाजों की आस अफसाना देती है किनारों को सपनों की मुस्कान देती है।

नजारों को अरमानों की कहानी सोच देती है आवाजों को राहों की बदलाव रोशनी देती है जज्बातों को खयालों की मुस्कान देती है।

नजारों को अरमानों की तलाश धून देती है किनारों को सपनों की अदा उम्मीद देती है आवाजों को लहरों की सुबह मुस्कान देती है।

नजारों को अरमानों की सरगम आवाज देती है जज्बातों को लहरों की कहानी बदलाव देती है तरानों को उजालों की आस मुस्कान देती है।

नजारों को अरमानों की समझ तराना देती है उम्मीदों को एहसासों की धारा तलाश देती है लम्हों को दिशाओं की कोशिश मुस्कान देती है।

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