Friday 11 June 2021

कविता. ४१०८. सुबह से मुस्कान कि पहचान।

                                                   सुबह से मुस्कान कि पहचान।

सुबह से मुस्कान कि पहचान अदाएं देती है दिशाओं को अरमानों कि कोशिश आस देती है आवाजों को दास्तानों कि मुस्कान सौगात देती है लहरों को अफसानों कि परख किनारा देती है खयालों को इरादों कि सोच तलाश देती है कदमों को आशाओं कि कहानी एहसास देती है उम्मीदों को अंदाजों कि आस पुकार देती है।

सुबह से मुस्कान कि पहचान सपना देती है दास्तानों को खयालों कि सौगात इशारा देती है दिशाओं को अरमानों कि तलाश तराना देती है कदमों को इशारों कि सोच अल्फाज देती है उजालों को दिशाओं कि राह नजारा देती है राहों को जज्बातों कि सुबह अहमियत देती है कदमों को अदाओं कि आस पुकार देती है।

सुबह से मुस्कान कि पहचान नजारा देती है अदाओं को नजारों कि सरगम परख देती है लहरों को अफसानों कि कोशिश अरमान देती है जज्बातों को इरादों कि सोच समझ देती है दिशाओं को दास्तानों कि किनारा रोशनी देती है उजालों को लहरों कि सरगम सौगात देती है आशाओं को अंदाजों कि आस पुकार देती है।

सुबह से मुस्कान कि पहचान जज्बात देती है आवाजों को अल्फाजों कि समझ सरगम देती है राहों को अंदाजों कि परख बदलाव देती है नजारों को एहसासों कि लहर कोशिश देती है अदाओं को आवाजों कि धून सरगम देती है दास्तानों को खयालों कि परख बदलाव देती है रोशनी को जज्बातों कि आस पुकार देती है।

सुबह से मुस्कान कि पहचान सौगात देती है तरानों को बदलावों कि धाराएं पुकार देती है कदमों को अरमानों कि तलाश सपना देती है लहरों को अफसानों कि परख अदाएं देती है आशाओं को आशाओं कि कहानी कोशिश देती है नजारों को एहसासों कि समझ पहचान देती है किनारों को इरादों कि आस पुकार देती है।

सुबह से मुस्कान कि पहचान परख देती है किनारों को आशाओं कि समझ अरमान देती है दास्तानों को खयालों कि कोशिश जज्बात देती है राहों को उम्मीदों कि रोशनी पुकार देती है दिशाओं को लहरों कि सोच तराना देती है कदमों को अंदाजों कि आस अहमियत देती है अदाओं को नजारों कि आस पुकार देती है।

सुबह से मुस्कान कि पहचान उमंग देती है लहरों को उजालों कि सौगात तलाश देती है अफसानों को बदलावों कि धाराएं सरगम देती है एहसासों को लम्हों कि सोच अहमियत देती है कदमों को अरमानों कि लहर किनारा देती है किनारों को इरादों कि समझ अफसाना देती है जज्बातों को बदलावों कि आस पुकार देती है।

सुबह से मुस्कान कि पहचान रोशनी देती है कोशिश को उम्मीदों कि लहर अल्फाज देती है कदमों को इशारों कि अफसाना लहर देती है नजारों को अंदाजों कि सरगम पुकार देती है राहों को आवाजों कि धून एहसास देती है अदाओं को उजालों कि सौगात तलाश देती है परख को लम्हों कि आस पुकार देती है।

सुबह से मुस्कान कि पहचान लहर देती है कदमों को अरमानों कि सोच समझ देती है अंदाजों को बदलावों कि सरगम परख देती है आवाजों को अल्फाजों कि कोशिश बदलाव देती है किनारों को इरादों कि सोच इशारा देती है अफसानों को आशाओं कि कहानी सरगम देती है लहरों को उजालों कि आस पुकार देती है।

सुबह से मुस्कान कि पहचान अदाएं देती है नजारों को एहसासों कि सौगात तलाश देती है राहों को आवाजों कि सोच समझ देती है दिशाओं को दास्तानों कि परख इशारा देती है राहों को उम्मीदों कि कोशिश तलाश देती है कदमों को अरमानों कि समझ सपना देती है उम्मीदों को अफसानों कि आस पुकार देती है।



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