Monday 8 April 2024

कविता. ५१३६. अंदाजों को लम्हों की।

                             अंदाजों को लम्हों की।

अंदाजों को लम्हों की आहट कोशिश सुनाती है लहरों को इशारों की समझ अफसाना दिलाती है कदमों को उजालों की पहचान सौगात देकर जाती है।

अंदाजों को लम्हों की कहानी अफसाना सुनाती है नजारों को दिशाओं की परख अल्फाज दिलाती है किनारों को राहों की कोशिश सौगात देकर जाती है।

अंदाजों को लम्हों की आवाज अरमान सुनाती है आशाओं को बदलावों की मुस्कान सहारा दिलाती है अल्फाजों को जज्बातों की तलाश सौगात देकर जाती है।

अंदाजों को लम्हों की अदा तराना सुनाती है अरमानों को दास्तानों की सुबह एहसास दिलाती है सपनों को इरादों की सोच सौगात देकर जाती है।

अंदाजों को लम्हों की उमंग खयाल‌ सुनाती है अदाओं को कदमों की उम्मीद सरगम दिलाती है आवाजों को खयालों की कहानी सौगात देकर जाती है।

अंदाजों को लम्हों की आस आवाज सुनाती है तरानों को उजालों की पुकार अहमियत दिलाती है किनारों को अल्फाजों की समझ सौगात देकर जाती है।

अंदाजों को लम्हों की रोशनी पुकार सुनाती है दिशाओं को आवाजों की धून अफसाना दिलाती है आशाओं को राहों की मुस्कान सौगात देकर जाती है।

अंदाजों को लम्हों की पहचान परख सुनाती है खयालों को लहरों की आस सोच दिलाती है इशारों को नजारों की सुबह सौगात देकर जाती है।

अंदाजों को लम्हों की सरगम आस सुनाती है अफसानों को उजालों की पहचान परख दिलाती है इरादों को अदाओं की राह सौगात देकर जाती है।

अंदाजों को लम्हों की लहर सोच सुनाती है आवाजों को बदलावों की मुस्कान दास्तान दिलाती है कदमों को अरमानों की आहट सौगात देकर जाती है।

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