Sunday, 13 March 2022

कविता. ४३८०. आवाज से कोशिश अक्सर।

                                                       आवाज से कोशिश अक्सर।

आवाज से कोशिश अक्सर एहसास सुनाती है जज्बातों को अंदाजों कि उम्मीद तलाश दिलाती है राहों को अक्सर किनारों कि सोच मिलती है।

आवाज से कोशिश अक्सर अरमान सुनाती है तरानों को उजालों कि परख पहचान दिलाती है कदमों को अक्सर खयालों कि सोच मिलती है।

आवाज से कोशिश अक्सर खयाल सुनाती है नजारों को अल्फाजों कि आस अफसाना दिलाती है जज्बातों को अक्सर दास्तानों कि सोच मिलती है।

आवाज से कोशिश अक्सर आस सुनाती है रोशनी को लहरों कि उम्मीद एहसास दिलाती है अंदाजों को अक्सर बदलावों कि सोच मिलती है।

आवाज से कोशिश अक्सर जज्बात सुनाती है खयालों को लम्हों कि आहट अल्फाज दिलाती है कदमों को अक्सर लहरों कि सोच मिलती है।

आवाज से कोशिश अक्सर किनारा सुनाती है अल्फाजों को एहसासों कि तलाश अरमान दिलाती है सपनों को अक्सर नजारों कि सोच मिलती है।

आवाज से कोशिश अक्सर दास्तान सुनाती है राहों को नजारों कि सुबह अहमियत दिलाती है लहरों को अक्सर एहसासों कि सोच मिलती है।

आवाज से कोशिश अक्सर सरगम सुनाती है लहरों को अंदाजों कि उम्मीद बदलाव दिलाती है सपनों को अक्सर इशारों कि सोच मिलती है।

आवाज से कोशिश अक्सर पहचान सुनाती है दास्तानों को बदलावों कि उमंग अरमान दिलाती है आशाओं को अक्सर अंदाजों कि सोच मिलती है।

आवाज से कोशिश अक्सर तलाश सुनाती है अदाओं को सपनों कि पुकार अल्फाज दिलाती है दिशाओं को अक्सर एहसासों कि सोच मिलती है।

No comments:

Post a Comment

कविता. ५४७२. ज्ञएहसास की कोई।

                           एहसास की कोई। एहसास की कोई पुकार तलाश दिलाती है कदमों को जज्बातों की आहट उजाला देकर जाती है अरमानों की आस सुनाती ...