Thursday 14 September 2023

कविता. ४९२९. उमंग को एहसासों की रोशनी।

                               उमंग को एहसासों की रोशनी।

उमंग को एहसासों की रोशनी अक्सर तलाश दिलाती है लहरों को इशारों की समझ तराना सुनाती है लम्हों को दास्तानों की आहट अल्फाज दिलाती है।

उमंग को एहसासों की लहर अक्सर कोशिश दिलाती है नजारों को खयालों की कहानी मुस्कान सुनाती है जज्बातों को अदाओं की पुकार अल्फाज दिलाती है।

उमंग को एहसासों की आस अक्सर अरमान दिलाती है राहों को अंदाजों की परख पहचान सुनाती है कदमों को उजालों की कहानी अल्फाज दिलाती है।

उमंग को एहसासों की सुबह अक्सर आवाज दिलाती है सपनों को इरादों की सौगात बदलाव सुनाती है दिशाओं को किनारों की लहर अल्फाज दिलाती है।

उमंग को एहसासों की कोशिश अक्सर आस दिलाती है किनारों को अंदाजों की समझ सरगम सुनाती है लहरों को इशारों की समझ अल्फाज दिलाती है।

उमंग को एहसासों की सोच अक्सर सपना दिलाती है लम्हों को अरमानों की कहानी राह सुनाती है बदलावों को दिशाओं की पहचान अल्फाज दिलाती है।

उमंग को एहसासों की कहानी अक्सर दास्तान दिलाती है लहरों को आशाओं की कोशिश तलाश सुनाती है अंदाजों को कदमों की आस अल्फाज दिलाती है।

उमंग को एहसासों की उम्मीद अक्सर अदा दिलाती है नजारों को दिशाओं की परख अफसाना सुनाती है सपनों को अदाओं की सुबह अल्फाज दिलाती है।

उमंग को एहसासों की आवाज अक्सर नजर दिलाती है आशाओं को बदलावों की मुस्कान अरमान सुनाती है तरानों को उजालों की सोच अल्फाज दिलाती है।

उमंग को एहसासों की सौगात अक्सर खयाल दिलाती है अदाओं को कदमों की सोच सरगम सुनाती है लम्हों को अरमानों की पुकार अल्फाज दिलाती है।

No comments:

Post a Comment

कविता. ५१६५. उम्मीदों को किनारों की।

                               उम्मीदों को किनारों की। उम्मीदों को किनारों की सौगात इरादा देती है आवाजों को अदाओं की पुकार पहचान दिलाती है द...