Wednesday 6 September 2023

कविता. ४९२१. उम्मीदों को कदमों की।

                                        उम्मीदों को कदमों की।

उम्मीदों को कदमों की आहट अल्फाज देती है किनारों को सपनों से बदलावों की मुस्कान तलाश दिलाती है नजारों को दिशाओं की कहानी सुनाती है।

उम्मीदों को कदमों की राह अरमान देती है एहसासों को अदाओं से लहरों की कोशिश बदलाव दिलाती है जज्बातों को किनारों की कहानी सुनाती है।

उम्मीदों को कदमों की सोच मुस्कान देती है इशारों को दास्तानों से अफसानों की समझ सरगम दिलाती है आवाजों को अंदाजों की कहानी सुनाती है।

उम्मीदों को कदमों की समझ कोशिश देती है दिशाओं को आशाओं से अरमानों की पुकार पहचान दिलाती है लहरों को नजारों की कहानी सुनाती है।

उम्मीदों को कदमों की सौगात आस देती है तरानों को इरादों से उजालों की रोशनी दास्तान दिलाती है सपनों को एहसासों की कहानी सुनाती है।

उम्मीदों को कदमों की सुबह सहारा देती है खयालों को अंदाजों से दास्तानों की परख अहमियत दिलाती है लहरों को आशाओं की कहानी सुनाती है।

उम्मीदों को कदमों की रोशनी अरमान देती है लम्हों को किनारों से अल्फाजों की पहचान सोच दिलाती है अरमानों को लम्हों की कहानी सुनाती है।

उम्मीदों को कदमों की सरगम तलाश देती है बदलावों को इशारों से दिशाओं की कोशिश लहर दिलाती है आवाजों को राहों की कहानी सुनाती है।

उम्मीदों को कदमों की उमंग खयाल देती है आशाओं को बदलावों से धाराओं की पुकार पहचान दिलाती है जज्बातों को अदाओं की कहानी सुनाती है।

उम्मीदों को कदमों की तलाश आहट देती है इरादों को खयालों से अल्फाजों की समझ सरगम दिलाती है नजारों को दास्तानों की कहानी सुनाती है।

No comments:

Post a Comment

कविता. ५१६५. उम्मीदों को किनारों की।

                               उम्मीदों को किनारों की। उम्मीदों को किनारों की सौगात इरादा देती है आवाजों को अदाओं की पुकार पहचान दिलाती है द...