Saturday 23 March 2024

कविता. ५१२०. सपनों संग बदलावों की।

                            सपनों संग बदलावों की।

सपनों संग बदलावों की मुस्कान कोशिश दिलाती है तरानों को उम्मीदों की कहानी अफसाना दिलाती है इशारों को दास्तानों की परख सुनाती है।

सपनों संग बदलावों की उमंग खयाल दिलाती है लम्हों को अरमानों की पुकार पहचान दिलाती है अरमानों को दिशाओं की परख सुनाती है।

सपनों संग बदलावों की सुबह किनारा दिलाती है लहरों को आवाजों की समझ अल्फाज दिलाती है जज्बातों को कदमों की परख सुनाती है।

सपनों संग बदलावों की आस अरमान दिलाती है कदमों को अदाओं की सोच उमंग दिलाती है एहसासों को इशारों की परख सुनाती है।

सपनों संग बदलावों की आवाज सरगम दिलाती है राहों को किनारों की आहट तलाश दिलाती है अंदाजों को नजारों की परख सुनाती है।

सपनों संग बदलावों की राह उमंग दिलाती है उजालों को अल्फाजों की आस दास्तान दिलाती है अल्फाजों को अदाओं की परख सुनाती है।

सपनों संग बदलावों की रोशनी तराना दिलाती है इरादों को आशाओं की सोच सौगात दिलाती है एहसासों को लम्हों की परख सुनाती है।

सपनों संग बदलावों की उम्मीद तलाश दिलाती है अंदाजों को जज्बातों की कहानी अरमान दिलाती है कदमों को दिशाओं की परख सुनाती है।

सपनों संग बदलावों की लहर सोच दिलाती है खयालों को अदाओं की आस दास्तान दिलाती है किनारों को सपनों की परख सुनाती है।

सपनों संग बदलावों की अरमान समझ दिलाती है आशाओं को नजारों की कोशिश उमंग दिलाती है आवाजों को दास्तानों की परख सुनाती है।

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