Sunday 23 September 2018

कविता. २४०५. चट्टानों से सरगम उठकर।

                                          चट्टानों से सरगम उठकर।
हर सुबह सूरज कि रोशनी गीत नया कोई लाती है चट्टानों से सरगम उठकर आसमान तक जाती है हर किनारे को लहरों कि जरुरत कोशिश कि नयी उमंग लाती है हर एहसास को दिशाओं कि पुकार इशारे देती है हर खयाल को आशाओं कि जरुरत के तराने देती है हर आस को इरादों कि पहचान रोशनी देती है हर अंदाज को कदमों कि तलाश देती है हर दिशा को बदलावों कि उम्मीद देती है।
हर सुबह सूरज कि रोशनी गीत नया कोई लाती है चट्टानों से सरगम उठकर गहराई तक जाती है हर आवाज को तरानों कि तलाश इशारे कि नयी उम्मीद लाती है हर पुकार को दास्तानों कि उम्मीद राहे देती है हर पहचान को दिशाओं कि कोशिश को बदलाव देती है हर खयाल को अफसानों कि तलाश इशारे देती है हर खयाल को आशाओं कि पहचान देती है हर दास्तान को इरादों कि उम्मीद देती है।
हर सुबह सूरज कि रोशनी गीत नया कोई लाती है चट्टानों से सरगम उठकर पंछी कि तरह उडान भर कर आसमान तक जाती है हर तलाश को बदलावों कि रोशनी उजाले देती है हर खयाल को आशाओं कि उमंग तराने देती है हर उजाले कि रोशनी को नये इशारे देती है हर मौसम के एहसासों कि उंचाई किनारे देती है हर आस को इरादों कि कोशिश देती है हर राह को इशारों कि उम्मीद देती है।
हर सुबह सूरज कि रोशनी गीत नया कोई लाती है चट्टानों से सरगम उठकर एहसास कि तरह आसमान को नये इरादे तक ले जाती है हर अल्फाज को तराने कि आवाज सुनाई देती है हर एहसास को दिशाओं कि तलाश इशारे देती है हर उमंग को कहानियों कि उम्मीद देती है हर उजाले को रोशनी कि निशानी सहारे देती है हर राह को बदलावों कि परख देती है हर अदा को कदमों कि उम्मीद देती है।
हर सुबह सूरज कि रोशनी गीत नया कोई लाती है चट्टानों से सरगम उठकर अदाओं कि तरह अफसाने को लेकर नये सहारे तक जाती है हर अंदाज को कदमों कि आहट सुनाई देती है हर खयाल को आशाओं कि कोशिश उम्मीदे देती है हर उजाले को अंदाजों कि रोशनी देती है हर दिशा को बदलावों कि आस बादल देती है हर आवाज को तरानों कि तलाश देती है हर अंदाज को इरादों कि उम्मीद देती है।
हर सुबह सूरज कि रोशनी गीत नया कोई लाती है चट्टानों से सरगम उठकर आशाओं कि पूंजी को दिशाओं कि पुकार तक जाती है हर उम्मीद को खयालों कि उमंग सुनाई देती है हर अंदाज को कदमों कि तलाश पहचान देती है हर आवाज को मासुमियत कि मुस्कान देती है हर खयाल को दिशाओं कि पुकार किनारे देती है हर उजाले को अंदाजों कि निशानी देती है हर खयाल को राहों कि उम्मीद देती है।
हर सुबह सूरज कि रोशनी गीत नया कोई लाती है चट्टानों से सरगम उठकर आवाजों कि पुकार को दास्तानों कि तलाश तक जाती है हर खयाल को आशाओं कि कोशिश सुनाई देती है हर आवाज को तरानों कि कोशिश परख देती है हर अल्फाज को बदलावों कि पहचान देती है हर दिशा को दास्तानों कि उम्मीद उजाले देती है हर खयाल को आशाओं कि आवाज देती है हर दास्तान को इशारों कि उम्मीद देती है।
हर सुबह सूरज कि रोशनी गीत नया कोई लाती है चट्टानों से सरगम उठकर उम्मीदों कि कोशिश को उजालों कि उम्मीद तक जाती है हर किनारे को लहरों कि जरुरत सुनाई देती है हर अंदाज को किनारों कि लहर इशारे देती है हर खयाल को आशाओं कि पुकार देती है हर आस को इरादों कि कोशिश परख देती है हर अल्फाज को बदलावों कि उमंग देती है हर दिशा को दास्तानों कि उम्मीद देती है।
हर सुबह सूरज कि रोशनी गीत नया कोई लाती है चट्टानों से सरगम उठकर दास्तानों कि तलाश को बदलावों कि आस तक जाती है हर अंदाज को कदमों कि आहट सुनाई देती है हर अल्फाज को कहानियों कि उम्मीद रोशनी देती है हर परख को लम्हों कि जरुरत देती है हर कदम को किनारों कि पहचान देती है हर आवाज को तरानों कि कोशिश देती है हर तराने को आवाजों कि उम्मीद देती है।
हर सुबह सूरज कि रोशनी गीत नया कोई लाती है चट्टानों से सरगम उठकर उजालों कि पहचान को दिशाओं कि पुकार तक जाती है हर आवाज को तरानों कि कोशिश सुनाई देती है हर रोशनी को उजालों कि अहमियत आस देती है हर अंदाज को किनारों कि लहर देती है हर नजारे को मौसम कि पुकार देती है हर शुरुआत को दिशाओं कि उम्मीद देती है हर खयाल को आशाओं कि उम्मीद देती है।

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