Friday 25 September 2020

कविता. ३७७४. तरानों को अरमानों कि।

                                                                            तरानों को अरमानों कि।

तरानों को अरमानों कि उमंग तलाश देती है दिशाओं को बदलावों कि उम्मीद कोशिश देती है इरादों को अंदाजों कि सरगम पुकार देती है किनारों को आशाओं कि सोच तलाश देती है लहरों को अफसानों कि सुबह मुस्कान देती है बदलावों को अदाओं कि सौगात जज्बात देती है किनारों को आशाओं कि सोच एहसास देती है।

तरानों को अरमानों कि उम्मीद कोशिश देती है इरादों को सपनों कि सुबह मुस्कान देती है कदमों को खयालों कि सोच दिशाएं देती है दास्तानों को अफसानों कि कहानी पुकार देती है किनारों को आशाओं कि उमंग परख देती है कोशिश को अल्फाजों कि सरगम तलाश देती है नजारों कि सरगम को अल्फाजों कि उम्मीद एहसास देती है।

तरानों को अरमानों कि समझ सुबह देती है दिशाओं को लहरों कि उम्मीद तलाश देती है किनारों को आशाओं कि कहानी जज्बात देती है लहरों को अरमानों कि समझ बदलाव देती है कोशिश को खयालों कि समझ पुकार देती है किनारों को सपनों कि सुबह मुस्कान देती है जज्बातों कि राह को दास्तानों कि उमंग एहसास देती है।

तरानों को अरमानों कि कोशिश पुकार देती है दास्तानों को जज्बातों कि आस पहचान देती है नजारों को अफसानों कि सुबह आस देती है आवाजों को लम्हों कि कहानी पुकार देती है अंदाजों को राहों कि तलाश अल्फाज देती है इरादों को जज्बातों कि समझ तराने देती है रोशनी कि कहानी को अंदाजों कि सुबह एहसास देती है।

तरानों को अरमानों कि उमंग परख देती है आशाओं को सपनों कि कहानी खयाल देती है दास्तानों को जज्बातों कि आस पहचान देती है किनारों को सपनों कि सुबह मुस्कान देती है रोशनी को अल्फाजों कि परख सौगात देती है इशारों को नजारों कि सोच दिशाएं देती है लहरों कि अफसानों को नजारों कि सोच एहसास देती है।

तरानों को अरमानों कि समझ सुबह देती है किनारों को आशाओं कि उम्मीद तलाश देती है आवाजों को लम्हों कि उमंग परख देती है बदलावों को अदाओं कि सौगात उजाले देती है इरादों को अंदाजों कि राह अफसाने देती है अल्फाजों को आशाओं कि उम्मीद कोशिश देती है अंदाजों कि राहों को सपनों कि सुबह एहसास देती है।

तरानों को अरमानों कि उम्मीद तलाश देती है आवाजों को लम्हों कि उमंग परख देती है अंदाजों को कोशिश कि सरगम धून देती है इरादों को अंदाजों कि रोशनी उजाले देती है दास्तानों को जज्बातों कि उम्मीद तराने देती है अदाओं को लहरों कि परख पहचान देती है बदलावों कि तरानों को खयालों कि सोच एहसास देती है।

तरानों को अरमानों कि सुबह आस देती है इरादों को सपनों कि उम्मीद तराने देती है आशाओं को दास्तानों कि सौगात उजाले देती है अदाओं को किनारों कि उम्मीद तलाश देती है अरमानों को आवाजों कि धून दास्ताने देती है किनारों को आशाओं कि उम्मीद कोशिश देती है इरादों कि सुबह को अल्फाजों कि परख एहसास देती है।

तरानों को अरमानों कि उमंग परख देती है अंदाजों को राहों कि तलाश अल्फाज देती है दिशाओं को बदलावों कि राह अफसाने देती है दास्तानों को जज्बातों कि आस पहचान देती है अदाओं को किनारों कि तलाश पहचान देती है इशारों को नजारों कि सोच दिशाएं देती है अफसानों कि तरानों को सपनों कि राह एहसास देती है।

तरानों को अरमानों कि समझ पुकार देती है दास्तानों को जज्बातों कि आस पहचान देती है नजारों को सपनों कि सुबह मुस्कान देती है उजालों को कोशिश कि सरगम धून देती है कदमों को खयालों कि सोच बदलाव देती है इरादों को अंदाजों कि उम्मीद तलाश देती है आवाजों कि सरगम को खयालों कि सोच एहसास देती है।


No comments:

Post a Comment

कविता. ५१६५. उम्मीदों को किनारों की।

                               उम्मीदों को किनारों की। उम्मीदों को किनारों की सौगात इरादा देती है आवाजों को अदाओं की पुकार पहचान दिलाती है द...