Thursday 16 April 2020

कविता. ३४४७. हर आस को उम्मीद के पंखों से।

                                          हर आस को उम्मीद के पंखों से।
हर आस को उम्मीद के पंखों से जुडने कि जरुरत होती है जो खयालों कि सरगम को आशाओं कि किरण देती है इशारों को एहसासों कि कोशिश दिशाएं देती है मुस्कान को उजालों कि समझ रोशनी देती है आवाजों को तरानों कि सोच सहारे देती है लहरों को नजारों कि पुकार देती है।
हर आस को उम्मीद के पंखों से अल्फाजों कि सोच मिलती है जो जज्बातों कि सुबह को अफसानों कि राह देती है इरादों को लहरों कि पुकार इशारे देती है आवाजों को कदमों कि आहट सौगात देती है अल्फाजों को उजालों कि कोशिश अदाएं देती है खयालों को नजारों कि पुकार देती है।
हर आस को उम्मीद के पंखों से अफसानों कि परख दिलाती है जो सपनों कि सौगात को तरानों कि सोच देती है रोशनी को उमंग कि पहचान सपने देती है अंदाजों को कोशिश कि पहचान सुबह देती है अदाओं को कदमों कि पुकार खयाल देती है आशाओं को नजारों कि पुकार देती है।
हर आस को उम्मीद के पंखों से अंदाजों कि सोच मिलती है जो लहरों कि पुकार को आशाओं कि किरण देती है अदाओं को कदमों कि आहट परख देती है आशाओं को रोशनी कि समझ तलाश देती है एहसासों को जज्बातों कि सौगात आस देती है दास्तानों को नजारों कि पुकार देती है।
हर आस को उम्मीद के पंखों से जज्बातों कि सौगात देती है जो अफसानों कि रोशनी को उमंग कि परख देती है बदलावों को सपनों कि सोच मुस्कान देती है आवाजों को तरानों कि समझ कोशिश देती है अंदाजों को लहर कि पुकार किनारे देती है राहों को एहसासों कि समझ नजारों कि पुकार देती है।
हर आस को उम्मीद के पंखों से अल्फाजों कि तलाश देती है जो खयालों कि सरगम को उजालों कि लहर देती है अरमानों को कदमों कि आहट परख देती है बदलावों को आशाओं कि किरण तराने देती है अल्फाजों को जज्बातों कि सौगात आस देती है तरानों को नजारों कि पुकार देती है।
हर आस को उम्मीद के पंखों से अफसानों कि परख देती है जो एहसासों कि समझ को सपनों कि सौगात देती है बदलावों को उजालों कि समझ तलाश देती है अरमानों को कदमों कि उमंग इशारे देती है आवाजों को तरानों कि सोच इरादे देती है अफसानों को नजारों कि पुकार देती है।
हर आस को उम्मीद के पंखों से आवाजों कि सरगम देती है जो सपनों कि सौगात को तरानों कि परख देती है जज्बातों को आशाओं कि समझ सपने देती है अदाओं को एहसासों कि समझ सपने देती है किनारों को अफसानों कि कोशिश दिशाएं देती है आशाओं को नजारों कि पुकार देती है।
हर आस को उम्मीद के पंखों से आशाओं कि किरण देती है जो अफसानों कि परख को अंदाजों कि लहर देती है तरानों को उम्मीदों कि लहर अरमान देती है दिशाओं को सपनों कि सौगात खयाल देती है अरमानों को कदमों कि आहट सुबह देती है उजालों को नजारों कि पुकार देती है।
हर आस को उम्मीद के पंखों से अल्फाजों कि तलाश देती है जो खयालों कि समझ को उम्मीदों कि रोशनी देती है किनारों को अफसानों कि उमंग इशारे देती है दास्तानों को अंदाजों कि सुबह मुस्कान देती है आशाओं को अदाओं कि लहर अदाएं देती है जज्बातों को नजारों कि पुकार देती है।

No comments:

Post a Comment

कविता. ५१६६. कोशिश की कहानी अक्सर।

                              कोशिश की कहानी अक्सर। कोशिश की कहानी अक्सर अरमानों की पुकार सुनाती है दास्तानों को एहसासों की रोशनी सौगात दिला...